शिवाजी महाराज की सबसे ऊंची प्रतिमा का औरंगाबाद में आज होगा अनावरण,

मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे 18 फरवरी यानी आज शहर में छत्रपति शिवाजी महाराज की नई प्रतिमा के अनावरण में शामिल होंगे। महाराष्ट्र के कैबिनेट मंत्री आदित्य ठाकरे और औरंगाबाद जिले के संरक्षक मंत्री सुभाष देसाई व्यक्तिगत रूप से इस कार्यक्रम में शामिल होंगे।

शिवाजी महाराज की सबसे ऊंची प्रतिमा का औरंगाबाद में आज होगा अनावरण,

मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे 18 फरवरी यानी आज शहर में छत्रपति शिवाजी महाराज की नई प्रतिमा के अनावरण में शामिल होंगे। महाराष्ट्र के कैबिनेट मंत्री आदित्य ठाकरे और औरंगाबाद जिले के संरक्षक मंत्री सुभाष देसाई व्यक्तिगत रूप से इस कार्यक्रम में शामिल होंगे। हालांकि इस बीच महाराष्ट्र में औरंगाबाद के ऐतिहासिक क्रांति चौक पर महान मराठा योद्धा छत्रपति शिवाजी महाराज की प्रतिमा के अनावरण के समय पर शिवप्रेमियों, मराठा क्रांति मोर्चा और भाजपा की आपत्तियों के बाद नगर निगम प्रशासन ने अब अनावरण का समय बदल दिया है। 

नगर निगम आयुक्त एवं प्रशासक आस्तिक कुमार पांडेय ने बताया कि लोकार्पण समारोह पूर्व नर्धिारित की गई मध्यरात्रि के स्थान पर शुक्रवार को 10 बजे रात से 12 बजे रात के बीच प्रतिमा का अनावरण होगा। जिलाधिकारी सुनील चव्हाण ने भी प्रतिमा के अनावरण समय की इजाजत दे दी है। राज्य के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे प्रतिमा को मुंबई से ऑनलाइन के माध्यम से समर्पित करेंगे जबकि अभिभावक मंत्री सुभाष देसाई और पर्यावरण मंत्री आदत्यि ठाकरे यहां मौजूद रहेंगे। 

चूंकि देर रात के कार्यक्रम में बड़ी भीड़ के आने की संभावना है, इसलिए शहर की पुलिस किसी भी अप्रिय घटना से बचने के लिए पर्याप्त सुरक्षा इंतजाम में जुटी। पुणे स्थित मूर्तिकार दीपक थोपटे द्वारा उकेरी गई मूर्ति को एक ऊंचे नींव पर रखा गया है।

देश में छत्रपति शिवाजी महाराज की सबसे ऊंची प्रतिमा औरंगाबाद के क्रांति चौक पर बनाई गई है और स्मारक का अनावरण 18 फरवरी की मध्यरात्रि को किया जाना था लेकिन अब समय बदल दिया गया है। पिछले कुछ दिनों से चल रहे अनावरण समय के विवाद को लेकर मराठा क्रांति मोर्चा और शिव जयंती महोत्सव समिति के साथ ही भाजपा के नगर अध्यक्ष संजय केनेकर ने गुरुवार को नगर निगम आयुक्त पांडेय से मुलाकात की। 

उन्होंने आश्वासन दिया है कि समय रहते अनावरण के समय में बदलाव किया जाएगा। प्रतिमा की ऊंचाई 21 फुट है। प्रतिमा का वजन सात टन है। मूर्ति के लिए कांस्य धातु का उपयोग किया गया है। प्रतिमा के चबूतरे की ऊंचाई 31 फुट है। चबूतरा (आधार) सहित प्रतिमा की कुल ऊंचाई 52 फुट है। चबूतरे के चारों ओर 24 मेहराबों में 24 मावले की प्रतिकृतियां लगाई गई हैं। चबूतरे के चारों ओर एक फव्वारा बनाया गया है और एक हाथी की सूंड से पानी का फव्वारा निकलेगा। प्रतिमा के नर्मिाण पर कुल 98.00 लाख रुपये और चबूतरा के नर्मिाण के लिए 255.00 लाख रुपये खर्च किए गए हैं।